Jharkhand New Rail Line : भारतीय रेलवे देशभर में अपनी संरचना को मजबूत बनाने के लिए समय-समय पर नई-नई परियोजनाओं पर काम कर रही है। इसी क्रम में रेल मंत्रालय की तरफ से दक्षिण पूर्व रेलवे को दो महत्वपूर्ण रेल परिणाम की मंजूरी दिया गया है। जिससे खड़गपुर क्षेत्र में माल और यात्री यातायात के जीवन शैली में सुधार होगा।
Jharkhand New Rail Line : झारखंड में 157.86 करोड़ की लागत से बनेगा नई रेलवे लाइन।
रेलवे की तरफ से दी गई जानकारी के अनुसार, निमपुरा रिसेप्शन यार्ड और खड़कपुर स्टेशन के बीच तीसरी रेल लाइन तथा कलाई कुंडा -निमपुरा पश्चिम आउटर से लेकर गोकुलपुर तक नई रेल लाइन बिछाने का परियोजनाओं पर काम किया जाएगा।
बताते चले कि इन दोनों परियोजनाओं की लागत कुल मिलाकर 382.30 करोड रुपए आई गई है। इससे दक्षिण पूर्व रेलवे के हावड़ा मुंबई और हावड़ा चेन्नई उच्च घनत्व रेल गलियारे पर ट्रैफिक की भीड़ को कम करने के और संचालक को सुगम बनाने में मदद मिलेगा।
तीसरी रेल लाइन परियोजना : निमपुरा रिसेप्शन यार्ड से लेकर खड़गपुर तक
आप सभी को बता दे की रेल मंत्रालय के तरफ से दी गई स्वीकृति के अनुसार निम्न पूरा रिसेप्शन याद और खड़कपुर स्टेशन के बीच 6.41 किलोमीटर लंबी तीसरी रेल लाइन बिछाई जाएगी। इस परियोजना पर कुल मिलाकर 157.86 करोड रुपए की लागत आएगी। इस रेलवे लाइन को पूरा होते ही आदित्यपुर खड़कपुर तीसरी लाइन की परियोजना पूरी हो जाएगी।
क्या होगा इसका महत्व?
यह मार्ग देश के दो प्रमुख रेल मार्ग हावड़ा-मुंबई और हावड़ा -चेन्नई पर स्थित है। इन मार्गों पर भारी मात्रा में मालगाड़ी और यात्री ट्रेन का संचालन होता है। नई तीसरी लाइन बनने से मौजूद ट्रैकों पर दबाव कम होगा और ट्रेनों की आवाज आई अधिक और तेज हो जाएगी और सुरक्षित हो सकेगी।
नई रेल लाइन कलाइकुंडा से गोकुलपुर के बीच बनेगी
बता दे की दूसरी स्वीकृत परियोजना के तहत कलाई कुंडा -निमपुरा पश्चिम आउटर गोकुलपुर के बीच 12.33 किलोमीटर लंबी रेल लाइन बिछाया जाएगा। इस परियोजना पर अनुमानित खर्च 224.44 करोड़ रुपए है। यह परियोजना खड़कपुर स्टेशन के आसपास स्थित है और इसका मकसद क्षेत्रीय यातायात को बेहतर बनाना है, माल गाड़ियों की गति बढ़ाना और ऑपरेशनल क्षमता को अधिकतम करना है।
रेलवे माल यातायात को मिलेगा जबरदस्त फायदा
बता दे कि इन दोनों परियोजनाओं को पूरा होते ही क्षेत्र में चलने वाले जितने भी माल गाड़ियां हैं, विशेष रूप से गोकुलपुर और आगरा से आने वाली ट्रेनों को स्टेशन पर रुकना नहीं पड़ेगा या उनका रोकने का समय कम हो जाएगा। इससे माल परिवहन में तेजी आएगी और देरी की समस्या से छुटकारा मिलेगा।
भारतीय रेलवे के लिए माल यातायात एक सबसे बड़ा राजस्व स्रोत है, और यदि माल गाड़ियों को समय पर और बिना रुकावट गंतव्य तक पहुंचाया जाए तो इससे व्यापारियों और उद्योगपतियों को भी लाभ होगा।
यात्रियों सेवा में भी आएगा सुधार
बता दे कि जहां से यह परियोजनाएं माल यातायात को गति देगी, वही यात्री ट्रेनों की समय पालनता में भी सुधार आएगा।मौजूदा समय में मालगाड़ियों और यात्री ट्रेनों की समय सारणी में टकराव के कारण कई बार विलंब होता है। नई लाइनों से इस समस्या का समाधान होगा।